Reported By: Ved Prakash Mishra
Published on: Jan 19, 2024 | 5:30 PM
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हाटा/कुशीनगर। स्थानीय श्रीनाथ संस्कृत महाविद्यालय में , अयोध्या में रामलला के प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर चल रहे श्रीराम कथा के दूसरे दिन की कथा में माता पार्वती के जन्म और कामदेव दहन की रोचक कथा को सुनकर श्रोता भावविभोर हो गये।
कथा व्यास आचार्य रामज्ञान पाण्डेय ने कथा का शुभारंभ प्रजापति दक्ष के यज्ञ में माता सती के पहुंचने और वहां शिव की उपेक्षा से आक्रोशित होकर अपने को योगाग्नि में समाप्त करने की कथा से किया।कहा कि माता सती पर्वतराज हिमालय के पत्नी मैना देवी से जन्म लेती हैं और जगत में पार्वती के रूप में पूजित होती हैं। नारदजी ने बताया कि उनका विवाह शिव से होगा। उधर शिव समाधि में हैं। देवताओं ने जग कल्याण के लिए कामदेव को तैयार किया और
कामदेव जब भगवान शिव की समाधि को भंग करते हैं तो शिव की क्रोधाग्नि में जलकर भस्म हो जाते हैं।
शिव की समाधि टूटने पर देवताओं के विनय पर भगवान शिव विवाह के लिए तैयार हो जाते हैं।शिव विवाह बड़े धूमधाम से सम्पन्न होता है। शिव बारात में भूत बेतालों का प्रसंग रोचक रहा। शिव विवाह की रूचिकर कथा ऐसे सुनाई कि पूरा परिसर आध्यात्मिक वातावरण से गुंजायमान हो गया।
इस दौरान विधानसभा हाटा के भाजपा विधायक मोहन वर्मा ने व्यास जी को अंगवस्त्र से सम्मानित किया।इस दौरान नगरपालिका अध्यक्ष रामानंद सिंह, प्रबंधक अग्निवेश मणि मंत्री गंगेश्वर पाण्डेय, सत्येन्द्र उपाध्याय, रमेश भारद्वाज, यजमान ओमप्रकाश चौरसिया, मोहन पाण्डेय, ब्रजेश मणि, कालिका दूबे, अवधेश कुमार सिंह, श्याम नारायण पाण्डेय, आदि उपस्थित रहे
Topics: हाटा