Reported By: Ved Prakash Mishra
Published on: May 18, 2024 | 5:32 PM
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हाटा/कुशीनगर। स्थानीय विकास खंड के ग्राम सभा महुई में चल रहे नौ दिवसीय श्री मद भागवत कथा के अन्तिम दिन शनिवार को कथा वाचक आचार्य व्यास अमरनाथ पाण्डेय ने श्रद्धालुओं को कृष्ण सुदामा की मित्रता का वर्णन कथा का रसपान कराया जो सुनकर श्रोता भावविभोर हो गये।
व्यास ने कहा कि भगवान श्री कृष्ण से प्रेम करते हुए रूकमणी ने उनको अपना पति मान लिया था। इसके बाद उन्होंने भगवान श्री कृष्ण के साथ ही विवाह किया। भगवान श्री कृष्ण और सुदामा का वर्णन करते हुए कहा कि यह दोनों मित्र संदीपन मुनि के आश्रम में मिले थे। जहां वह विद्या प्राप्त करने के बाद भगवान श्री कृष्ण राक्षसों का संहार करते हुए द्वारिकापुरी में बस गये। वहीं सुदामा निर्धनता में जीवन काट रहे थे। एक दिन उनके पत्नी ने उनको भगवान श्री कृष्ण के पास भेजा भगवान ने उनको दो मुठ्ठी चावल के बदले लोक लोक दे डाले। कृष्ण और सुदामा की मित्रता एक मिशाल है। बचपन के दिनों में ही कृष्ण ने सुदामा को बचन देते हुए कहा था कि , मित्र तुम जब भी संकट में खुद को पाओ मुझे याद करना , में जरूर अपनी मित्रता निभाऊंगा। और बाद में श्रीकृष्ण ने अपना बचन निभाया, मित्रता का रिश्ता दुनिया में सबसे खुबसूरत होता है। आगे कहा कि साधु महात्माओं का परीक्षा कभी नहीं लेना चाहिए। शरीर मरता है लेकिन आत्मा तो अमर है।
इस दौरान यजमान रमाशंकर द्विवेदी, विद्यावती देवी, पं त्रिलोकी त्रिपाठी,आचार्य शुभम तिवारी, पं दिवाकर पाण्डेय,उदय नरायन द्विवेदी, नन्हे द्विवेदी, अंकित, हर्षिता, मुन्नी देवी, अवधेश द्विवेदी, मनीष मिश्र, प्रेम शंकर द्विवेदी, गौतम मुनि तिवारी, डब्लू मिश्र, गुलशन आदि मौजूद रहे।
Topics: हाटा