Reported By: Ram Bihari Rao
Published on: Oct 13, 2021 | 10:06 PM
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रामकोला/कुशीनगर (न्यूज अड्डा)। मथुरा वृृंदावन से रामकोला पहुंचे राष्ट्रीय कथाकार 12 वर्षीय श्री बाल कृष्ण जी महाराज ने श्याम मंदिर रामकोला में चल रही श्रीमद्भागवत कथा के छठवे दिन गोवर्धन गिरिराज की महिमा का वर्णन करते हुए उपस्थित श्रोताओं को भगवान के गिरिराज जी का बड़ा सुंदर प्रसंग सुनाया।उन्होंने कहा कि अनादिकाल से यज्ञ कर रहे हैं ब्राह्मणों पर भगवान ने कृपा की लेकिन यह ब्राह्मण इतने अभिमानी थे कि भगवान के बाल शाखाओं को घर आने पर भोजन तक नहीं कराया। लेेेकिन उनके धर्मपत्नी ब्राह्मणीयों ने भगवान को स्वयं अपने घरों में ले जाकर भोजन कराकर अपने गृृहस्थ जीवन का उद्धार किया। बाद में जब ब्राह्मणों को पता चला तो वह भी भगवान की शरणागत हो गये।
कथावाचक ने भगवान का गोपियों के साथ रासलीलाओ का वर्णन करते हुए कहा कि गोपियां और कोई नहींं वह रामावतार के ऋषि मुनि व वामन अवतार की दैत्य कन्याए है, मत्स्य अवतार की सागर की मछलियां हैं। भगवान के रासलीला की मधुर प्रसंग व भगवान श्रीकष्ण के विदाई का विधिवत प्रसंग सुनाकर बालकृृृष्ण जी महाराज ने भक्तों की आंखों को नम कर दिया।कथावाचक ने कंस वध की कथा का भी वर्णन किया।इस दौरान कथावाचनक महाराज श्री बालकृष्ण ने रुक्मणी मंगल विवाह की कथा सुनाई और सब भक्तों ने बड़े धूमधाम से भगवान व रुक्मणी मंगल विवाह महोत्सव मनाया।इस बहुत ही सुंदर भजन गाया “कोई प्यार से मेरे श्याम को सजा लो गजब हो जाएगा, आज मेरे श्याम की शादी है ऐसा लगता है सारे संसार की शादी है।इस दौरान संतोष केडिया, कुसुम केडिया, श्याम लाल अग्रवाल,राजीव अग्रवाल,कान्हा अग्रवाल, अंकुर अग्रवाल आदि तमाम श्याम भक्त उपस्थित होकर कथा रसपान किये।
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